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तीन दशक से कस्बा के बाजार में घर बनाकर होम्योपैथी चिकित्सा की अपनी क्लीनिक चलाते थे। क्षेत्र के जाने माने चिकित्सकों में इनका नाम शुमार था। रविवार की सुबह 8 बजे के करीब चिकित्सक ने अपने घर के दूसरे मंजिल पर पत्नी एवं पुत्र को एक कमरे में बन्द कर बाहर से सिटकनी लगा दी और नीचे मेन गेट के अन्दर बने गैलरी में हुंक से रस्सी का फन्दा बनाकर लटक गए। पत्नी और पुत्र के शोर मचाने पर आसपास के लोगों ने इसकी सूचना चौकी प्रभारी रामअवध को दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने किसी तरह बंद दरवाजे को खोला तो फंदे पर लटकते चिकित्सक को देख सभी अवाक रह गए।
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चौकी प्रभारी रामअवध ने घटना की सूचना एसओ गड़वार अनिल चंद तिवारी को दी और अपने हमराहियों से शव को हुंक से नीचे उतारा । मौके पर पहुंचे एसओ ने आवश्यक कार्यवाई कर शव को पोस्टमार्टम के लिए भिजवाया। इधर निधन पर व्यापार मण्डल के सदस्यों ने पकड़ी तर(बाजार में) बैठक कर गतात्मा की शांति के लिए शोक सभा का आयोजन किया और दो मिनट मौन धारण कर श्रद्धांजली दी। शोक सभा में मुन्ना गुप्ता, विजय गुप्ता, भाजपा के जिला उपाध्यक्ष उपेन्द्र पाण्डेय, उमेश सिंह, अरविन्द गुप्ता आदि मौजूद रहे।
रिपोर्ट- बलिया ब्यूरो लोकेश्वर पाण्डेय
बलिया: छत की हुक से लटककर इस 60 वर्षीय चिकित्सक ने की आत्महत्या, पुलिस ने पोस्टमार्टम के लिए भेजा शव
रतसर (बलिया) गड़वार थाना क्षेत्र के स्थानीय कस्बा के सदर बाजार निवासी डा० हरख चंद गुप्ता 60 वर्ष ने अपने आवास पर फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उनका शव रविवार की सुबह गैलरी के अन्दर छत की हुक से लटका मिला। पत्नी व पुत्र का कहना है कि वह बीते साल से अवसाद से ग्रसित थे तथा हाल ही में उन्हे पेसमेकर लगा था। सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस टीम ने शव को उतार कर पोस्टमार्टम के लिए जिला चिकित्सालय भेजवाया। प्राप्त जानकारी के अनुसार डा० हरख प्रसाद गुप्ता मूलरूप से नजदीकी गांव सरया डोभवा के निवासी थे।