घूस लेते रंगे हाथों पकड़ी गईं प्रशिक्षु महिला दरोगा को गिरफ्तार कर भेज दिया गया हैं जेल, एंटी करप्शन टीम ने मुकदमे से नाम निकालने के लिए 10000 रुपये घूस लेने के आरोप में अंकिता को किया था गिरफ्तार
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थाने में फफक कर राेने लगी प्रशिक्षु दारोगा
गोरखपुर (ब्यूरो डेस्क)। घूस लेते हुए एंटी करप्शन टीम के हत्थे चढ़ी प्रशिक्षु महिला दारोगा अंकिता खुद को बेकसूर बता कार्रवाई को गलत बता रही थी। उसका कहना था कि महिला से रुपये नहीं लिए हैं उसे फंसाया जा रहा है। एंटी करप्शन की टीम ने शिकायतकर्ता के साथ ही जब उसका भी हाथ पानी से धुलवाया तो उसका रंग गुलाबी हो गया। जिसका नमूमा टीम ने अपने पास रख लिया। भेद खुलने पर निलंबित हुई प्रशिक्षु दारोगा कैंट थाने में फफक कर राेने लगी। शनिवार को उसे दोपहर बाद न्यायालय में पेश किया गया जहां से जेल भेज दिया गया।
2023 में UP पुलिस में दारोगा के पद पर हुई भर्ती
बिहार के भोजपुर (आरा) जिले के बड़हरा थाना क्षेत्र के नया सवलपुर निवासी मनोज पांडेय की पुत्री अंकिता पांडेय वर्ष 2023 में उत्तर प्रदेश पुलिस में दारोगा के पद पर भर्ती हुई थी। गोरखपुर जिले में तैनाती मिलने के बाद उसे मार्च 2023 में पिपराइच थाने भेजा गया था।
भ्रष्टाचार के विरुद्ध जीरो टालरेंसः-
— Anti Corruption Organisation, UP. (@ACOUPPolice) November 23, 2024
भ्रष्टाचार निवारण संगठन, उ0प्र0 के गोरखपुर थाना/इकाई द्वारा महिला उपनिरीक्षक नागरिक पुलिस को ₹10,000/- की रिश्वत लेते हुए रंगे हाथ गिरफ्तार किया गया।
हेल्पलाइन- 9454402484
ईमेल-aco@nic.in pic.twitter.com/dzTXIbS6sn
महिला दारोगा की ठीक नहीं थीं आम शोहरत
शुक्रवार को एंटी करप्शन की टीम ने मारपीट के मुकदमे से नाम निकालने के लिए 10 हजार रुपये घूस लेने अंकिता को गिरफ्तार करने के बाद कैंट थाने में भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज कराया। पिपराइच क्षेत्र के लोगों का कहना है कि प्रशिक्षु महिला दारोगा की आम शोहरत ठीक नहीं थी।
जांच हुई तो कई मामले हो सकते हैं उजागर
थाने में तैनाती के बाद जितने मुकदमे की विवेचना उसने की है इसकी जांच कराई जाए तो भ्रष्टाचार के कई मामले सामने आएंगे। सीओ कैंट योगेंद्र सिंह ने बताया कि मेडिकल कराने के बाद शनिवार को दोपहर बाद कैंट थाना पुलिस ने घूस लेने की आरोपित प्रशिक्षु दारोगा को न्यायालय में पेश किया।
आइए जानें क्या हैं यह मामला
पिपराइच के बेला कांटा गांव की रहने वाली उर्मिला देवी पत्नी गोरख निषाद व उनके स्वजन के विरुद्ध 27 सितंबर, 2024 पट्टीदारों ने मारपीट करने का मुकदमा दर्ज कराया था। इसकी विवेचना प्रशिक्षु दारोगा अंकिता पांडेय को मिली थी। मुकदमे से बेटियाें का नाम निकालने के लिए उर्मिला से 10 हजार रुपये मांग रही थी, जिसकी शिकायत उसने एंटी करप्शन थाने में की थी। शुक्रवार को एंटी करप्शन की टीम ने ट्रैप का जाल बिछाने के बाद उर्मिला को रुपये देने के लिए अंकिता के पास भेजा। रुपये लेने के बाद एंटी करप्शन की टीम ने उसे रंगे हाथ टीम ने गिरफ्तार कर लिया।
रिपोर्ट- गोरखपुर ब्यूरो डेस्क