मुंबई (ब्यूरों) मुंबई और पुणे को जोड़ने वाले ऐतिहासिक अमृतांजन पूल को कल जमींदोज कर दिया जाएगा। कोरोना वायरस लॉकडाउन के बीच अंग्रेजों के बनाए इस 190 साल पुराने पुल को शनिवार को नियंत्रित ब्लास्ट के जरिए उड़ाया जाएगा। लोनावाला के पास इस पुल को ब्रिटिश राज के दौरान 1830 में बनाया गया था। यह देश के सबसे पुराने पुलों में से एक है। रायगढ़ जिला कलेक्टर ने महाराष्ट्र स्टेट रोड डिवेलपमेंट कॉर्पोरेशन को 4 से 14 अप्रैल के बीच गिराने की अनुमति दे दी है।
कोविड-19 लॉकडाउन की वजह से मुंबई-पुणे एक्सप्रेसवे पर ट्रैफिक बेहद कम रह गया है। इस बीच मुफीद मौका देखकर प्रशासन ने पुल को गिराने के लिए हरी झंडी दे दी है। मुंबई-पुणे एक्सप्रेस वे पर दोनों लेन के लिए 10 किलोमीटर का एक ट्रैफिक डायवर्जन बनाया जाएगा। अमृतांजन पुल की खराब हालत को देखते हुए पिछले कई सालों से इसे यातायात के लिए बंद कर दिया गया था। महाराष्ट्र स्टेट रोड डिवेलपमेंट कॉर्पोरेशन ने इससे पहले इस पुल के संरक्षक रेलवे को भी लिखा था और पुल गिराने की अनुमति मांगी थी। साथ ही जिला कलेक्टर और स्टेट हाईवे पुलिस से भी सुरक्षा और ट्रैफिक को रेग्यूलेट करने की मांग की थी।
पुल की हालत अब बेहद खस्ता हो चुकी थी। इसकी वजह से यहां अक्सर लंबा जाम लग जाता था तो कई बार दुर्घटनाएं भी होती थीं। पुल के खंभे सड़क को कई हिस्सों में बांटते हैं। इन मोटे पिलर्स की वजह से यहां सड़क की चौड़ाई कम है और अक्सर इनकी वजह से जाम लगता था। पुल को गिराने का प्रॉजेक्ट 3 साल से लंबित था। पिछले साल जून में महाराष्ट्र स्टेट रोड डिवेलपमेंट कॉर्पोरेशन ने पुल को गिराने के लिए दूसरा टेंडर जारी किया था। 2017 में जब पहली बार पुल को गिराने का प्लान बनाया गया तो इसका भारी विरोध भी हुआ।
रिपोर्ट- मुंबई डेस्क